कार्यक्रम में मुख्य अथिति के रूप में झारखंड राज्य की महिला, बाल-विकास एवं सामाजिक सुरक्षा विभाग की मंत्री श्रीमती जोबा माझी, समाज कल्याण विभाग के निदेशक श्री अंजनेयलु दोड्डे, उपायुक्त श्री अरवा राजकमल, सहायक निदेशक समाज कल्याण विभाग एवं अन्य रहें उपस्थित
सरायकेला / विश्व स्तनपान सप्ताह कार्यक्रम का समापन समारोह सरायकेला खरसवां जिले के सरायकेला प्रखंड अंतर्गत छोटा टांगरानी विद्यालय परिसर में शनिवार को आयोजित किया गया। उक्त कार्यक्रम में मुख्य अथिति के रूप में झारखंड राज्य की महिला, बाल-विकास एवं सामाजिक सुरक्षा विभाग की मंत्री श्रीमती जोबा माझी, समाज कल्याण विभाग के निदेशक श्री अंजनेयलु दोड्डे, उपायुक्त श्री अरवा राजकमल, सहायक निदेशक समाज कल्याण विभाग, उप वीकास आयुक्त, ITDA निदेशक, DRDA निदेशक समेत जिला स्तरीय पदाधिकारी एवं आंगनवाड़ी दीदी, ANM दीदी एवं विभिन्न योजना के लाभुक एवं ग्रामीण उपस्थित हुए।
कार्यक्रम के दौरान उपायुक्त श्री अरवा राजकमल ने मुख्य अतिथि माननीय मंत्री श्रीमती जोबा मांझी को पौधा प्रदान कर स्वागत किया। इस दौरान समाज कल्याण पदाधिकारी श्रीमती संध्यारानी एवं CDPO के द्वारा कार्यक्रम में उपस्थित सभी गणमान्य पदाधिकारियों का स्वागत पौधा प्रदान कर किया गया। इसके ततपाश्चात्य कार्यक्रम का शुभारंभ सामूहिक रूप से द्वीप प्रज्ज्वलित कर किया गया।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए उपायुक्त श्री अरवा राजकमल ने विश्व स्तनपान दिवस के समापन समारोह (1अगस्त से 7 अगस्त) हेतु सरायकेला खरसावां जिले का चयन करने हेतु माननीय मंत्री श्रीमती जोबा मांझी एवं पूर्व उपायुक्त सरायकेला खरसावां, विभागीय निदेशक श्री ए. दोड्डे को धन्यवाद कहा। उपायुक्त ने विश्व स्तनपान सप्ताह कार्यक्रम को लेकर कहा कि स्तनपान नवजात के स्वास्थ्य के लिए जीवन अमृत है। जन्म के तुरंत बाद से कराया जाने वाला स्तनपान ना सिर्फ उन्हें कई गंभीर रोगों से बचाता है बल्कि उनके संपूर्ण विकास की सबसे महत्वपूर्ण सीढ़ी है। इसलिए स्तनपान को बढ़ावा देने के लिए अगस्त के पहले सप्ताह 1 से 7 अगस्त को विश्व स्तनपान सप्ताह के रूप में मनाया जा रहा है। ताकि नवजात स्वास्थ्य में स्तनपान की भूमिका के प्रति जागरूकता प्रदान कर सामुदायिक भागीदारी को बढ़ाया जा सके। कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए पूर्व उपायुक्त सरायकेला खरसावां एवं राज्य के समाज कल्याण निदेशक श्री ऐंजनेयलु दोड्डे ने कहा कि जन्म के उपरांत सभी बच्चों को 6 माह तक केवल मा का स्तनपान सर्वोत्तम माना गया है जिससे बच्चों की रोग प्रतिरोधक क्षमता अच्छी होती है,उसके पश्चात बच्चों को ऊपरी पोषक आहार भी देना चाहिए जिससे बच्चों मे कुपोषण ना हो उन्होंने बताया कि कुपोषित बच्चे ना केवल शारीरिक रूप से बल्कि मानसिक रूप से भी विकसित नहीं हो पाते है इस सम्बन्ध मे उन्होंने बताया कि जिले के सभी आंगनबाडी केन्द्रो मे बच्चों के लिए अंडा भी वितरण किया जायेगा साथ ही उन्होंने कहा कि मै चाहता हूँ कि भविष्य मे सरायकेला जिला मॉडल जिला के रूप मे विकसित हो।माननीय मंत्री श्रीमती जोबा मांझी ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा समाज कल्याण विभाग द्वारा समय-समय पर यह समीक्षा किया जा रहा है जिससे जिले के कुपोषित एवं अतिकुपोसित बच्चों को चिन्हित कर उन्हें पोषण आहार दिया जा सकें। साथ ही उन्होंने कहा कि जिले के सभी बच्चों को पोषण युक्त आहार देना हम सबकी जिम्मेदारी होनी चाहिए। उन्होंने सभी आंगनवाड़ी सेविका एवं समाज कल्याण विभाग अंतर्गत कार्यरत दीदियो को अपने पोषणक्षेत्र में धात्री माताओं एवं बच्चो को पोषणयुक्त आहार सम्बंधित जानकारी देने एवं कुपोषण की जानकारी साझा करने हेतु अपील किया। साथ हि उन्होंने कहा की महवारी के समय किशोरियों को किन किन बातो का ध्यान रखना चाहिए, तथा ऐसे परिस्थिति में स्वास्थ्य सम्बंधित किन बातों का ध्यान रखना चाहिए यह भी जानकारी अपने अपने पोषक क्षेत्रो में बालिकाओं एवं महिलाओ को जागरूक करें। माननीय मंत्री ने उपायुक्त को जिले तेजस्विनी परियोजना अंतर्गत किए जा रहें कार्यों का समीक्षा करने की बात कही। उन्होंने कहा समाज कल्याण विभाग अंतर्गत किए जा रहें कार्यों में प्रगति लाने हेतु किसी भी प्रकार के सहयोग के लिए राज्य स्तर से लेकर जिला स्तर तक के वरीय पदाधिकारी सदैव तत्पर है जिससे राज्य के कुपोषित क्षेत्रो को कुपोषण मुक्त बनाया जा सके। उन्होंने कहा माननीय मुख्यमंत्री के निदेशानुसा…