धनबाद। दलित शोषण मुक्ति मंच के राष्ट्रीय सचिव शिव बालक पासवान ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि 3 अक्टूबर 2023 के सुबह दिल्ली में वरिष्ठ पत्रकार भाषा सिंह, वीडियो पत्रकार अभिसार शर्मा, न्यूज़ क्लिक के 76 वर्षीय प्रधान संपादक प्रवीर पुरकायस्थ और न्यूज़ क्लिक के प्रशासनिक अधिकारी अमित चक्रवर्ती जो विकलांग हैं, वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश, पत्रकार सुबोध वर्मा, लेखिका गीता हरिहरण, राजनीतिक अर्थशास्त्र के टिप्पणीकार अनिंद्य चक्रवर्ती, कार्यकर्ता एवं इतिहासकार सोहेल हाशमी, व्यंगकार तथा स्टैंड अप कॉमेडियन संजय राजौरा, ऋचा चिंतन तथा अखिल भारतीय जन विज्ञान नेटवर्क के वैज्ञानिक डी रघुनंदन के घरों पर पुलिस के द्वारा छापे मारे गए और इन्हें पुलिस हिरासत में ले लिया गया। अब तक प्राप्त जानकारी के अनुसार इन्हें एफआईआर की कॉपी तक मुहैया नहीं करवाई गई है और न ही पुलिस कार्रवाई में उनके विरुद्ध लगाए गए आरोपों की कोई सूची ही दी गई है। यह अत्यंत दु:ख की बात है कि आज के इस समय में सरकार से असहमति रखने वाले किसी भी विचार को कुचला जा रहा है। इससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत की छवि एक गैर लोकतांत्रिक राज्य की बनती जा रही है।
अनेक अंतरराष्ट्रीय मीडिया और शोध एजेंसियां भारत की इस बिगड़ती छवि का भरपूर इस्तेमाल कर रही हैं। इसके साथ – साथ देश के भीतर भी करोड़ों नागरिक अभिव्यक्ति के अधिकार के हनन पर इस तरह के कुठाराघात से बेहद हतोत्साहित हो रहे हैं। हम दलित शोषण मुक्ति मंच की ओर से इस तरह की पुलिसिया कार्रवाई की निंदा करते हैं और यह मांग करते हैं कि सरकार संविधान द्वारा प्रदत्त अभिव्यक्ति के अधिकार का किसी भी तरह से उल्लंघन न करे और इन सभी पत्रकारों को सम्मानपूर्वक घर भेजे।