अमृत महोत्सव का असली सच गम्हरिया हाट-बाजार परिसर में देखा उपायुक्त

झारखण्ड गम्हरिया / आजादी के अमृत महोत्सव का असली सच गम्हरिया हाट बाजार परिसर में देखने को मिली। लाल बिल्डिंग चौक पर सफाई अभियान की शुरुआत के बाद वापस लौटने के बजाय गम्हरिया हाट-बाजार परिसर पहुंचे उपायुक्त ने वहां की स्थिति देख भौंचक रह गए। डेढ़ वर्षों से सफाई नहीं होने से बाजार परिसर में सर्वत्र गंदगी का ढेर था। गंदगी इतनी कि दुकानदारों को बैठने तक की जगह नहीं थी। उपायुक्त ने पहले दुकानदारों को जमकर फटकार लगायी। जबकि मौके पर मौजूद निगम के अधिकारियों को सफाई के लिए एक माह की मोहलत दी। उन्होंने क्षेत्र के पार्षद सिद्धनाथ सिंह की भी क्लास ली। उनसे सफाई नहीं होने का कारण पूछा तो वे जवाब नहीं दे पाए। उपायुक्त ने वर्षों से बंद पड़ी सुलभ शौचालय को भी चालू करने का निर्देश दिया। उन्होंने दुकानदारों को गंदगी नहीं फैलाने एवं लगातार आसपास को स्वच्छ रखने का सख्त निर्देश दिया। सर्विस रोड के नाला के उपर दुकान हटाने का निर्देश भी दिया। इस दौरान सर्विस रोड में अतिक्रमण भी देखा एवं उक्त मार्ग पर चलने वाले लोगों की परेशानी से अवगत हुए। चाईबासा के तत्कालीन डीसी एसकेजी रहाटे ने करीब 25 साल पूर्व गम्हरिया हाट-बाजार परिसर में पहुंचकर निर्माण का शिलान्यास किया था। दूसरे उपायुक्त के रूप में अरवा राजकमल बाजार प्रांगण की बदतर स्थिति से रूबरू होने 25 साल बाद बाजार पहुंचे थे। इस दौरान सब्जी, कपड़ा, होटल मीट एवं अन्य दुकानदारों से वार्ता की। उनकी समस्योंबसे अवगत हुए। दुकानदारों ने भी डेढ़ साल से बाजार की सफाई नहीं होने समेत अन्य समस्याओं से अवगत कराया। उपायुक्त ने जेएआरडीसीएल के प्रोजेक्ट मैनेजर को रोड पर बह रहे पानीको जल्द ठीक कराने एवं मीट-मुर्गा दुकानदारों को पीछे हट कर दुकान लगाने का निर्देश दिया।

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